ओलंपिक में भारत का इतिहास और पहला गोल्ड मेडल

ओलंपिक में भारत का इतिहास 1896 ईस्वी में हुए प्रथम ओलंपिक खेलों के साथ शुरू हुआ था। ओलंपिक इतिहास में भारत ने पहला गोल्ड मेडल 1928 में जीता था, यह मेडल भारत को हॉकी टीम ने दिलाया। ओलंपिक खेलों का इतिहास लगभग 125 साल पुराना है। ओलंपिक में भारत का इतिहास देखा जाए तो भारत ने अभी तक कुल मिलाकर 28 पदक जीते हैं।

ओलंपिक में भारत का इतिहास

ओलंपिक खेलों का आगाज 1896 ईस्वी में अर्थात आज से लगभग 125 वर्षों पूर्व हुआ था। समय के साथ साथ ओलंपिक खेलों का इतिहास और नियम बदलते गए। जब ओलंपिक की शुरुआत हुई तब से लेकर लगभग 50 वर्षों तक ब्रिटिश शासन वाला भारत ओलंपिक में भाग लेता रहा।

भारत के लिए “नार्मन पिचार्ड” ने ओलंपिक इतिहास में भारत के लिए पहला पदक जीता था। यह धावक थे, इन्होंने साल 1900 के पेरिस ओलंपिक में भाग लिया. 200 मीटर की बाधा दौड़ तथा 200 मीटर पुरुषों की दौड़ में इन्होंने भाग लिया। ओलंपिक इतिहास में भारत को पहला पदक, रजत पदक के रूप में मिला।

नार्मन पिचार्ड को लेकर अभी भी यह भी विवाद बना हुआ है कि यह पदक भारत ने जीता या ब्रिटेन ने? ब्रिटेन दावा करता है कि नार्मन पिचार्ड ने ओलंपिक में उनकी ओर से भाग लिया था, जबकि international Olympic council (अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति) का रिकॉर्ड देखा जाए तो नार्मन पिचार्ड द्वारा जीते गए दोनों रजत पदक भारत के नाम पर दर्ज है।

सन 1900 में पेरिस में आयोजित ओलंपिक के बाद लगातार तीन ओलंपिक में भारत हिस्सा नहीं ले पाया था। इसके बाद बेल्जियम (एंटवर्प) में आयोजित ओलंपिक खेलों में भारत ने 1920 में भाग लिया था। इस ओलंपिक में भाग लेने के लिए भारत की तरफ से मात्र 6 खिलाड़ियों का दल गया था।

धीरे धीरे भारतीय दल बड़ा होता गया। 1924 में आयोजित ओलंपिक खेलों में भारत की तरफ से 15 खिलाड़ियों ने भाग लिया था।
रियो ओलंपिक 2016 की बात की जाए तो भारत की तरफ से 118 खिलाड़ियों ने भाग लिया। हालांकि ओलंपिक में भारत का इतिहास ज्यादा स्वर्णिम रहा नहीं है। अगर अन्य देशों से तुलना की जाए तो भारत ने कुल मिलाकर 28 पदक जीते हैं जोकि कई छोटे-छोटे देशों से भी कम है।

ओलंपिक इतिहास में भारत द्वारा जीते गए पदक

ओलंपिक खेलों का इतिहास लगभग 125 वर्ष पुराना है। भारत लगातार ओलंपिक खेलों में भाग ले रहा है, हालांकि बीच में ऐसा भी हुआ कि ओलंपिक खेलों में भारत ने भाग नहीं लिया। लेकिन टोक्यो ओलंपिक 2020 से पहले तक भारत ने ओलंपिक इतिहास में 28 पदक जीते हैं।

ओलंपिक इतिहास में भारत के पदक की बात की जाए तो भारत द्वारा कुल जीते गए 28 पदकों में सर्वाधिक 12 कास्य पदक (bronze medal), 7 रजत पदक (silver medal) और 9 स्वर्ण पदक (gold medal) शामिल हैं।

अब बात करते हैं किस खेल में भारत ने कितने पदक जीते तो ओलंपिक इतिहास में भारत ने हॉकी में सर्वाधिक 11 मेडल जीते हैं, जिनमें एक ब्रॉन्ज मेडल, एक सिल्वर मेडल और आठ गोल्ड मेडल शामिल है। भारत ने टेनिस में 1 पदक, वेटलिफ्टिंग में 1 पदक, कुश्ती में 5 पदक, मुक्केबाजी में 2 पदक और बैडमिंटन में भी 2 पदक जीते हैं।

ओलंपिक में भारत को पहला गोल्ड मेडल कब मिला?

ओलंपिक इतिहास में भारत को पहला गोल्ड मेडल 1928 के एम्सटर्डम में हॉकी टीम ने दिलाया था। यह भारतीय हॉकी का स्वर्णिम समय था और यही वजह रही कि ओलंपिक खेलों में भारतीय टीम ने लगातार 6 बार गोल्ड मेडल जीते। 1932 (लॉस एंजलिस ओलंपिक), 1936 !बर्लिन Olympic), 1948 (लंदन ओलंपिक), 1952 (हेलसिंकी Olympic), 1956 (मेलबर्न ओलंपिक) में भारतीय हॉकी टीम ने स्वर्ण पदक जीते।

ओलंपिक में भारत को पहला गोल्ड मेडल हॉकी टीम ने दिलाया था। वही बात करें तो ओलंपिक में भारत को सर्वाधिक गोल्ड मेडल भी हॉकी टीम ने दिलाए हैं। व्यक्तिगत रूप से ओलंपिक में भारत की तरफ से पहला मेडल जीतने वाले कासाबा दादासाहेब जाधव थे। कासाबा दादासाहेब जाधव ने भारत की तरफ से ओलंपिक में कुश्ती (freestyle) के फ्रीस्टाइल में ब्रोंज मेडल जीता था। बीजिंग ओलंपिक (2008) में अभिनव बिंद्रा ने भारत की तरफ से पहला व्यक्तिगत गोल्ड मेडल जीता.

भारत ने सर्वाधिक पदक किस ओलंपिक में जीते?

र्ष 2012 में लंदन में आयोजित (London Olympic 2012) भारत के लिए पदकों की संख्या के हिसाब से ओलंपिक इतिहास का सबसे अच्छा ओलंपिक रहा। इस ओलंपिक में कुल 6 पदक जीतकर भारत ने ओलंपिक खेलों में नया कीर्तिमान स्थापित किया था। बैडमिंटन में साइना नेहवाल, कुश्ती में योगेश्वर दत्त, निशानेबाजी में गगन नारंग और मुक्केबाजी में मेरीकॉम ने भारत के लिए कांस्य पदक (bronze medal) जीते थे जबकि पहलवान सुशील कुमार ने कुश्ती में और विजय कुमार ने निशानेबाजी में सिल्वर मेडल हासिल किए थे।

2016 में आयोजित रियो ओलंपिक में भारत को सिर्फ 2 पदक मिले। बैडमिंटन में पीवी सिंधु ने सिल्वर मेडल जीता वही साक्षी मलिक ने कुश्ती में कांस्य पदक जीता था।

टोक्यो ओलंपिक 2020 में भारतीय दल?

ओलंपिक को खेलों का महाकुंभ माना जाता है। ओलंपिक में भारत का इतिहास देखा जाए तो इस बार भारत की तरफ से सर्वाधिक 126 खिलाड़ी टोक्यो ओलंपिक 2020 में भाग लेने जा रहे हैं। टोक्यो ओलंपिक 2020 में कुल 18 खेलों की 69 प्रतियोगिताओं में भारत के 126 खिलाड़ी प्रतिभागी बनेंगे।

ओलंपिक इतिहास में भारत की तरफ से इस बार सर्वाधिक पदकों की उम्मीद की जा रही है। मेरीकॉम, अमित पंघाल, बजरंग पुनिया, विनेश फोगाट, नीरज चोपड़ा, मनु भाकर और पी वी सिंधु को पदक के दावेदार माना जा रहा है। टोक्यो ओलंपिक 2020 में भारतीय हॉकी टीम भी दावेदारी में शामिल है।

टोक्यो ओलंपिक 2020 में भारतीय दल से बैडमिंटन कुश्ती निशानेबाजी और मुक्केबाजी में पदक की उम्मीद की जा सकती है। टोक्यो ओलंपिक में भारत ने अब तक 2 मैडल अपने नाम किए हैं जिनमें पहला सिल्वर मैडल मीराबाई चानू ने जीता जबकि दूसरा रजत पदक पी.वी. सिंधु ने जीता।

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