कई लोगों ने बार-बार यह प्रश्न पूछा है की बप्पा रावल की तलवार का वजन कितना था? सबसे पहले हम आपको बताते हैं बप्पा रावल ने राजा मान मोरी को पराजित करके चित्तौड़ पर आधिपत्य स्थापित किया था। बप्पा रावल 35 हाथ की धोती और 16 हाथ का दुपट्टा पहनते थे 713 ईस्वी में जन्म लेने वाले बप्पा रावल की मृत्यु 97 वर्ष की आयु में हुई थी। बप्पा रावल की तलवार का वजन कितना था ? किताबों और इंटरनेट पर उपलब्ध जानकारी के अनुसार बप्पा रावल की तलवार का वजन 32 मन बताया जाता है।1 मन में 40 किलो होता है, इस हिसाब से “बप्पा रावल की तलवार का वजन” 1280 किलो होता है। इतिहासकार बताते हैं कि बप्पा रावल तलवार के एक झटके से दो भैंसों की बलि देते थे। विशालकाय शरीर और ऊंचे लंबे कद काठी के होने की वजह से यह संभव है कि “बप्पा रावल की तलवार का वजन” 1280 किलो होगा। लेकिन इस संबंध में कोई भी प्रमाण या साक्ष्य उपलब्ध नहीं हैं. बप्पा रावल की लंबाई कितनी थी? यह भी एक कॉमन प्रश्न है जो पाठको द्वारा बार-बार पूछा जाता है। बप्पा रावल की लंबाई कितनी थी या फिर यह कहे कि बप्पा रावल की हाइट कितनी थी, तो कई तथ्यों से यह बात स्पष्ट होती है
भगवान श्रीकृष्ण के जन्म की कहानी आप सभी जानते हैं। कंस जब अपनी बहिन देवकी का विवाह वसुदेवजी के साथ करने के बाद खुद उसके ससुराल छोड़ने के लिए जा रहा था तब आकाशवाणी हुई की देवकी के गर्भ से जन्म लेने वाली 8वीं संतान कंस की मृत्यु का कारण बनेगी। जब कंस को ये पता चला कि उसकी चचेरी बहन देवकी का आठवाँ पुत्र उसका वध करेगा तो उसने देवकी को मारने का निश्चय किया। देवकी के 8 पुत्रों के नाम. देवकी के पति वासुदेव जी ने कंस से प्रार्थना कर देवकी को ना मरने का आग्रह किया। वसुदेव के आग्रह पर वो उन दोनों के प्राण इस शर्त पर छोड़ने को तैयार हुआ कि देवकी की गर्भ से जन्म लेने वाले हर नवजात शिशु को कंस को सौंप देंगे। दोनों ने उनकी ये शर्त ये सोच कर मान ली कि जब कंस उनके नवजात शिशु का मुख देखेगा तो प्रेम के कारण उन्हें मार नहीं पाएगा। किन्तु कंस बहुत निर्दयी था। उसने एक-एक कर माता देवकी के 6 पुत्रों को जन्म लेते ही मार दिया। सातवीं संतान को योगमाया ने देवकी की गर्भ से वासुदेव की दूसरी पत्नी रोहिणी के गर्भ में स्थानांतरित कर दिया इसीलिए वे संकर्षण कहलाये और बलराम के नाम से विश्व-विख्यात हुए। जबकि योगमाया ने